Omar Abdullah, CM, JK

आतंक से नहीं झुकेगी जम्मू-कश्मीर सरकार: पहलगाम से उमर अब्दुल्ला का दो टूक संदेश

पहलगाम। जम्मू-कश्मीर के मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला ने आतंकवाद को करारा जवाब देते हुए मंगलवार को पहलगाम में एक विशेष कैबिनेट बैठक की अध्यक्षता की। यह पहली बार था जब मौजूदा सरकार ने पारंपरिक राजधानी श्रीनगर या जम्मू के बजाय किसी अन्य स्थान पर कैबिनेट की बैठक की—और वह भी एक ऐसी जगह, जो हाल ही में आतंकी हमले का गवाह बनी थी।

बैठक केवल एक प्रशासनिक कवायद नहीं, बल्कि एक प्रतीकात्मक कदम था—शांति के दुश्मनों को यह दिखाने के लिए कि जम्मू-कश्मीर आतंकवाद की कायरतापूर्ण हरकतों से डरने वाला नहीं है। मुख्यमंत्री ने स्पष्ट शब्दों में कहा, “हम आतंक से नहीं डरते। हमारा संकल्प अडिग है, हमारी सरकार मजबूत और निडर है।”

इस ऐतिहासिक बैठक के लिए पहलगाम को इसलिए चुना गया क्योंकि 22 अप्रैल को हुए आतंकी हमले के बाद वहां पर्यटकों की आवाजाही में भारी गिरावट आई थी। सरकार ने यह कदम उठाकर न केवल स्थानीय लोगों के साथ एकजुटता जताई, बल्कि यह भी स्पष्ट कर दिया कि घाटी में डर का माहौल नहीं बनने दिया जाएगा।

बैठक के बाद मुख्यमंत्री कार्यालय ने पहलगाम क्लब से बैठक की तस्वीरें भी साझा कीं, जो पूरे राज्य के लिए एक प्रतीकात्मक संदेश बन गईं।

इससे पहले, 28 अप्रैल को जम्मू में आयोजित एक विशेष विधानसभा सत्र में सरकार ने पहलगाम हमले के खिलाफ एकमत से प्रस्ताव पारित किया था और सांप्रदायिक सौहार्द बिगाड़ने की साजिशों के खिलाफ कड़ा रुख अपनाया था।

अपने 26 मिनट के भावनात्मक भाषण में उमर अब्दुल्ला ने साफ किया कि वह इस हमले को राज्य के दर्जे की बहाली के लिए राजनीतिक हथियार नहीं बनाएंगे। उन्होंने कहा, “मैं सस्ती राजनीति में विश्वास नहीं करता। हमारा मकसद लोगों की सुरक्षा और प्रदेश की शांति है, न कि राजनीतिक लाभ उठाना।”

इस बैठक ने साफ कर दिया कि जम्मू-कश्मीर सरकार डरकर नहीं, डटकर जवाब देने में यकीन रखती है।

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