नई दिल्ली। कांग्रेस पार्टी ने पहलगाम हमले के बाद अपनी उच्चतम नीति निर्धारक इकाई, कांग्रेस कार्य समिति (सीडब्ल्यूसी), की गुरुवार को पार्टी मुख्यालय में अहम बैठक बुलायी। इस बैठक में आतंकी हमले की निंदा की गई और शांति की अपील की गई। साथ ही, भाजपा पर निशाना साधते हुए पार्टी ने इस गंभीर स्थिति का राजनीतिक फायदा उठाने का आरोप लगाया।
कांग्रेस ने अपने प्रस्ताव में कहा, “यह अत्यंत चिंताजनक है कि भाजपा इस त्रासदी का उपयोग सोशल मीडिया और अन्य मंचों के माध्यम से वैमनस्य, ध्रुवीकरण और अविश्वास फैलाने के लिए कर रही है, जबकि इस समय हमें एकता और मिलकर काम करने की जरूरत है।” 22 अप्रैल को पहलगाम में हुए इस हमले में 26 निर्दोष पर्यटक अपनी जान गंवा बैठे थे और 20 से अधिक लोग गंभीर रूप से घायल हुए थे।
सीडब्ल्यूसी की बैठक में पार्टी अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे, कांग्रेस संसदीय दल की अध्यक्ष सोनिया गांधी, विपक्षी नेता राहुल गांधी, और प्रियंका गांधी वाड्रा समेत प्रमुख नेता शामिल हुए। इस दौरान, पवन खेड़ा ने प्रेस वार्ता में बैठक की जानकारी दी और बताया कि हमले के प्रति शोक जताते हुए मौन रखा गया।
सीडब्ल्यूसी ने इसे एक पूर्व नियोजित और कायराना हमला बताते हुए मारे गए पर्यटकों के परिवारों के प्रति अपनी गहरी संवेदनाएं व्यक्त कीं। विशेष रूप से, पोनीवाले और टूरिस्ट गाइडों को श्रद्धांजलि दी गई, जिनमें से एक ने पर्यटकों की जान बचाते हुए अपनी जान गंवा दी।
कांग्रेस ने सुरक्षा व्यवस्था की खामियों को उजागर करते हुए कहा कि पहलगाम को हमेशा से सुरक्षित क्षेत्र माना जाता है, जहां त्रिस्तरीय सुरक्षा व्यवस्था लागू है। पार्टी ने इस हमले की गहरी जांच की आवश्यकता पर बल दिया और कहा कि यह सुनिश्चित किया जाना चाहिए कि पीड़ित परिवारों को न्याय मिले।
इसके अलावा, कांग्रेस ने आगामी अमरनाथ यात्रा की तैयारी के मद्देनजर तीर्थयात्रियों की सुरक्षा को प्राथमिकता देने की मांग की और कहा कि जम्मू-कश्मीर के उन लोगों की आजीविका की भी रक्षा की जानी चाहिए, जिनका जीवन पर्यटन पर निर्भर है।