नई दिल्ली। अमेरिका की नई टैरिफ नीति ने वैश्विक शेयर बाजारों में भूचाल ला दिया है। इस गिरावट की लहर से दुनियाभर के शेयर बाजार बुरी तरह प्रभावित हुए हैं, जिससे दुनिया के 500 सबसे अमीर व्यक्तियों को लगभग 17.73 लाख करोड़ रुपये (20.8 हजार करोड़ डॉलर) की संपत्ति गंवानी पड़ी है। ब्लूमबर्ग बिलियनेयर्स इंडेक्स के मुताबिक, कोरोना काल के बाद एक दिन में संपत्ति में आई यह सबसे बड़ी गिरावट है, और बीते 13 वर्षों में यह चौथा सबसे बड़ा नुकसान है।
इस गिरावट का सबसे ज्यादा असर फेसबुक के फाउंडर मार्क जुकरबर्ग पर पड़ा, जिनकी संपत्ति महज एक दिन में करीब 17.9 अरब डॉलर घट गई। उनकी कुल संपत्ति अब 189 अरब डॉलर रह गई है। मेटा के शेयरों में फरवरी के बाद से लगातार गिरावट आई है और अब तक 28% तक टूट चुके हैं।
दूसरे सबसे बड़े नुकसान का सामना अमेजन के संस्थापक जेफ बेजोस ने किया। कंपनी के शेयर गुरुवार को 9% तक गिर गए, जिससे उनकी संपत्ति में 15.9 अरब डॉलर की गिरावट आई और अब वह 201 अरब डॉलर पर आ गई है।
एलन मस्क, जो दुनिया के सबसे अमीर शख्स हैं, भी इस गिरावट से नहीं बच सके। टेस्ला के शेयरों में 5.5% की गिरावट के चलते उनकी संपत्ति में 11 अरब डॉलर की कमी आई है, जो अब घटकर 322 अरब डॉलर रह गई है।
एलवीएमएच ग्रुप के सीईओ और फ्रांस के अरबपति बर्नार्ड अर्नॉल्ट की दौलत में भी 6.22 अरब डॉलर की गिरावट आई। अमेरिका की नई टैरिफ नीति के तहत यूरोपीय यूनियन पर 20% का फ्लैट टैरिफ लगाया गया है, जिससे लक्जरी सामान और शराब के निर्यात पर असर पड़ा है। इसका सीधा असर उनके ब्रांड्स जैसे डियोर, बुल्गारी और लोरो पियाना के शेयरों पर पड़ा।
हालांकि इस गिरावट के बीच कुछ अरबपतियों की संपत्ति में बढ़ोतरी भी हुई है। भारत के उद्योगपति गौतम अडाणी की संपत्ति 1.39 अरब डॉलर बढ़कर 76.2 अरब डॉलर हो गई। वहीं, मेक्सिको के कारोबारी कार्लोस स्लिम की दौलत में 2.95 अरब डॉलर का इजाफा हुआ और वह अब 85.5 अरब डॉलर पर पहुंच गए हैं।
यह घटनाक्रम वैश्विक अर्थव्यवस्था पर अमेरिका की नीतियों के गहरे असर को दर्शाता है और आने वाले समय में बाजारों में अस्थिरता बने रहने की आशंका को भी जन्म देता है।