नई दिल्ली: भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने अपने नेताओं द्वारा न्यायपालिका और देश के मुख्य न्यायाधीश पर दिए गए विवादित बयानों पर सख्त रुख अपनाया है। पार्टी अध्यक्ष जेपी नड्डा ने शनिवार देर रात एक्स (पूर्व ट्विटर) पर एक अहम पोस्ट साझा कर साफ कर दिया कि पार्टी इन बयानों से पूरी तरह असहमत है और उनका कोई समर्थन नहीं करती।
जेपी नड्डा ने दो टूक कहा, “निशिकांत दुबे और दिनेश शर्मा द्वारा न्यायपालिका और चीफ जस्टिस पर दिए गए बयान उनके निजी विचार हैं। भाजपा इनसे न केवल असहमत है, बल्कि इन बयानों को पूरी तरह खारिज करती है।”
उन्होंने यह भी ज़ोर देकर कहा कि भाजपा हमेशा से न्यायपालिका का सम्मान करती आई है और अदालतों के निर्णयों और सुझावों को विनम्रता से स्वीकार करती रही है। उन्होंने कहा, “देश की अदालतें, खासकर सर्वोच्च न्यायालय, हमारे लोकतंत्र के मजबूत स्तंभ हैं और संविधान की रक्षा का आधार हैं।”
नड्डा ने दोनों सांसदों को भविष्य में इस तरह की टिप्पणियों से बचने की सख्त हिदायत दी है। साथ ही, सभी पार्टी नेताओं को भी चेतावनी देते हुए कहा कि संवैधानिक संस्थाओं के प्रति सम्मान बनाए रखें।
इस सख्त प्रतिक्रिया से भाजपा ने यह स्पष्ट संदेश दिया है कि पार्टी संविधान और लोकतांत्रिक मूल्यों को सर्वोपरि मानती है, और किसी भी तरह की बयानबाज़ी से उसकी छवि धूमिल नहीं होने देगी।
