नई दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बुधवार को सिक्किम की स्वर्ण जयंती पर राज्य के लोकतांत्रिक सफर और विकास की जमकर तारीफ की। उन्होंने कहा कि 50 साल पहले सिक्किम ने जब भारत के लोकतंत्र को अपनाया, तब से आज तक हर सिक्किमी परिवार का विश्वास और भागीदारी लगातार मजबूत होती गई है।
गंगटोक के पालजोर स्टेडियम में आयोजित कार्यक्रम को वर्चुअली संबोधित करते हुए प्रधानमंत्री ने कहा, “सिक्किम की 50 साल की यह यात्रा, लोकतंत्र की ताकत और विकास की गवाही देती है।”
प्रधानमंत्री ने अपने संबोधन में हाल ही में जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में हुए आतंकी हमले का जिक्र करते हुए उसे “मानवता पर हमला” करार दिया और कहा कि भारत ने ‘ऑपरेशन सिंदूर’ के तहत आतंकियों को मुंहतोड़ जवाब दिया है। उन्होंने दो टूक कहा, “आज का भारत आतंकवाद के खिलाफ एकजुट और निर्णायक है।”
मोदी ने सिक्किम को वैश्विक पर्यटन मानचित्र पर स्थापित करने का विज़न साझा किया। उन्होंने कहा कि राज्य में साहसिक, खेल, वेलनेस, सम्मेलन और सांस्कृतिक पर्यटन की असीम संभावनाएं हैं। उनका सपना है कि दुनिया के मशहूर कलाकार एक दिन गंगटोक की वादियों में अपनी कला का प्रदर्शन करें।
इस खास मौके पर उन्होंने राज्य में कई विकास परियोजनाओं का उद्घाटन और शिलान्यास भी किया, जिनमें भालेढूंगा स्काईवॉक प्रोजेक्ट, नामची में 500 बिस्तरों वाला जिला अस्पताल, पेल्लिंग में रोपवे और संखोला में पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी की प्रतिमा शामिल हैं।
प्रधानमंत्री ने कहा कि बीते एक दशक में पूर्वोत्तर को विकास की मुख्यधारा में लाया गया है। उन्होंने ‘एक्ट ईस्ट’ नीति के तहत ‘एक्ट फास्ट’ मॉडल पर बल दिया और बताया कि दिल्ली में हाल ही में हुए ‘नॉर्थ ईस्ट इन्वेस्टमेंट समिट’ और ‘राइजिंग नॉर्थईस्ट 2025 समिट’ के जरिए सैकड़ों करोड़ रुपये के निवेश के रास्ते खुले हैं।
उन्होंने यह भी बताया कि अब सिक्किम के लोगों को शिक्षा, स्वास्थ्य और रोजगार के लिए दूसरे राज्यों की ओर रुख नहीं करना पड़ता। बीते वर्षों में राज्य को 400 किलोमीटर राष्ट्रीय राजमार्ग और 100 किलोमीटर ग्रामीण सड़कों का तोहफा मिला है। वहीं, अटल सेतु ने दार्जिलिंग से जुड़ाव को और बेहतर बना दिया है।
सिक्किम की यह 50 साल की यात्रा, जहां परंपरा और प्रगति का संगम दिखता है, पूरे भारत के लिए प्रेरणा है।