नई दिल्ली। ‘ऑपरेशन सिंदूर’ के बाद भारत की सीमावर्ती सुरक्षा व्यवस्था पूरी तरह अलर्ट मोड में है। इसी बीच पाकिस्तान से सटे गुजरात, राजस्थान, जम्मू-कश्मीर और पंजाब समेत कई राज्यों में गुरुवार शाम को मॉक ड्रिल का आयोजन किया जाएगा। इस अभ्यास का उद्देश्य सीमा सुरक्षा को और मजबूत करना और स्थानीय जनता को सतर्क रहने के लिए तैयार करना है।
यह मॉक ड्रिल ऐसे समय में हो रही है जब हाल ही में भारत-पाकिस्तान के बीच तनाव के बीच सीजफायर की घोषणा हुई है। याद रहे, 22 अप्रैल को पहलगाम में हुए आतंकी हमले के बाद भारत ने पाकिस्तानी और पीओके में स्थित 9 आतंकवादी ठिकानों को निशाना बनाया था। इसके जवाब में पाकिस्तान ने भारतीय सीमावर्ती इलाकों पर 300 से 400 ड्रोन हमले किए, जिनमें जम्मू-कश्मीर, राजस्थान और पंजाब के कई क्षेत्र शामिल थे। हालांकि, भारतीय वायु रक्षा प्रणाली ने इस ड्रोन हमले को प्रभावी ढंग से विफल कर दिया।
ड्रोन और मिसाइल हमलों के कारण कई सीमावर्ती इलाकों में ब्लैकआउट और सायरन की आवाज़ें गूंज उठीं, जिससे स्थानीय नागरिकों में डर का माहौल पैदा हो गया था। इसके बाद दोनों देशों के सैन्य अधिकारियों के बीच बातचीत हुई और संघर्ष विराम की शुरुआत हुई, जिसके बाद सीजफायर लागू किया गया।
पाकिस्तानी प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ ने भी भारत के हमले को सार्वजनिक रूप से स्वीकार करते हुए नूर खान एयरबेस पर हुए हमले की जानकारी दी थी। उन्होंने “यौम-ए-तशाकुर” समारोह में बताया कि 9-10 मई की रात करीब 2:30 बजे उन्हें सेना प्रमुख ने फोन कर इस हमले की सूचना दी थी।
अब इस कड़ी में, भारत के सीमावर्ती राज्यों में होने वाली मॉक ड्रिल से सुरक्षा व्यवस्था को और मज़बूती मिलेगी और नागरिक भी हर स्थिति के लिए तैयार रहेंगे।