तेहरान: अमेरिका द्वारा ईरान के तीन अहम परमाणु ठिकानों पर किए गए हमलों ने वैश्विक राजनीति में तनाव बढ़ा दिया है। ईरान ने इन हमलों को संयुक्त राष्ट्र चार्टर और अंतरराष्ट्रीय कानूनों का गंभीर उल्लंघन करार देते हुए चेतावनी दी है कि इसके दूरगामी परिणाम होंगे।
ईरान के विदेश मंत्री अब्बास अरागची ने एक तीखे बयान में कहा कि अमेरिका ने फोर्दो, नतांज और इस्फहान स्थित शांतिपूर्ण परमाणु प्रतिष्ठानों को निशाना बनाकर न केवल अंतरराष्ट्रीय नियमों की धज्जियां उड़ाई हैं, बल्कि यह एनपीटी (परमाणु अप्रसार संधि) का भी खुला उल्लंघन है। उन्होंने कहा कि यह हर उस राष्ट्र के लिए चिंता का विषय होना चाहिए जो अंतरराष्ट्रीय शांति और स्थिरता में विश्वास रखता है।
अरागची ने जोर देकर कहा, “ईरान अपनी संप्रभुता, राष्ट्रीय हितों और नागरिकों की सुरक्षा के लिए हर विकल्प खुला रखेगा।” उन्होंने अंतरराष्ट्रीय समुदाय से इस ‘खतरनाक, अराजक और आपराधिक’ कदम की कड़ी निंदा करने की अपील की।
वहीं, संयुक्त राष्ट्र महासचिव एंटोनियो गुटेरेस ने भी इस घटनाक्रम पर गहरी चिंता व्यक्त की है। उन्होंने कहा कि क्षेत्र में संघर्ष नियंत्रण से बाहर होता जा रहा है, जिससे नागरिकों और पूरी दुनिया को खतरा हो सकता है। उन्होंने सभी पक्षों से संयम बरतने और तनाव को शांत करने की अपील की।
इससे पहले रविवार सुबह अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने अपने सोशल मीडिया पोस्ट में दावा किया था कि अमेरिकी सेनाओं ने ईरान के तीन प्रमुख परमाणु ठिकानों पर सफल हमले किए हैं और सभी विमान सुरक्षित तौर पर ईरानी वायु सीमा से बाहर लौट चुके हैं।
अब देखना यह है कि ईरान इस हमले के जवाब में क्या कदम उठाता है और क्या दुनिया एक और बड़े संघर्ष की ओर बढ़ रही है?